Vikas Bhagat In Kaladhungi : आज कालाढूंगी की खास जगह के भ्रमण पर विकास भगत पहुँचे। इस दौरान उन्होंने बताया कि उन्हें सभासद कविता वालिया ने बताया की यहां एक ब्रिटिश कालीन फाउंड्री है। जिसके बाद आज इस इतिहासिक जगह को देखने वो पहुँचे। कॉर्बेट ग्राम विवास समिति के अनुरोध पर कालाढूंगी की ब्रिटिशकालीन फाउंड्री को पयर्टक केंद्र के रूप में विकसित करने के लिये विशेष कार्य योजना तैयार करने के दिशा निर्देश शहरी विकास मंत्री बंशीधर भगत द्वारा जिला अधिकारी धीराज गर्ब्याल को दिये गये थे। जिस पर अब कार्य किया जा रहा है, जल्द ही यह फाउंड्री एक नये स्वरूप में हम सब के बीच होगी।
Vikas Bhagat In Kaladhungi :
कालाढूंगी का नाम क्यों पड़ा :
Vikas Bhagat In Kaladhungi : काला मतलब Black औऱ ढूंगी मतलब पत्थर Stone। ब्रिटिशकाल में कालाढूंगी में एक आयरन फाउंड्री होती थी। जिसमें कच्चा लोहा ला कर उसको फाउंड्री में साफ कर पकाते थे और रेलवे के प्रयोग हेतु तैयार करते थे। दरअसल ब्रिटिश काल के 1858 में मेसर्स डेविड एंड कंपनी ने इस उत्तर भारत की पहली आयरन फाउंड्री की स्थापना की।
Vikas Bhagat In Kaladhungi : जिसमें आस-पास के जंगलों से कच्चा लोह पत्थर ला कर उसको पकाया जाता था और गर्म लोहे को ठंडा करने को ब्रिटिशर ने बोर नदी से एक नहर भी बनाई थी। जो अब तक आस्तित्व में है। तब तत्कालीन ब्रिटिश कमिश्नर हेनरी रैमसे ने जंगलों के जबरदस्त दोहन को रोकने के लिए इस फॉउंरी को सन 1876 में बंद कर दिया।
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