Dhami Gov Dissolved Devasthanam Board : उत्तराखंड सरकार ने आज देवस्थानम बोर्ड को भंग करने का ऐलान कर दिया है और जल्द ही आगामी शीतकालीन सत्र में इस एक्ट को कैंसिल भी किया जायेगा। आगामी विधानसभा चुनाव को नजदीक देखते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के इस फैसले को काफी अहम माना जा रहा है। दरअसल देवस्थानम बोर्ड के खिलाफ चारों धामों के पंड़ा समाज और तीर्थ पुरोहित काफी लंबे समय प्रर्दशन कर रहे थे और इस बोर्ड को भंग करने की मांग कर रहे थे।
खुशी की लहर :
Dhami Gov Dissolved Devasthanam Board : मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने देवस्थानम बोर्ड को भंग करने का ऐलान के बाद तीर्थ पुरोहितों में खुशी की लहर देखी जा रही है। वहीं तीर्थ पुरोहितों ने सीएम धामी का आभार जताते हुए कहा है कि का कहना है सीएम पुष्कर सिंह धामी ने ऐतिहासिक फैसला लिया है। जिसका तीर्थ पुरोहित खुले दिल से स्वागत करते हैं। बता दें चारों धामों के पंड़ा समाज और तीर्थ पुरोहितों के देवस्थानम बोर्ड को भंग करने के लिए आन्दोलन कर रहे थे।
हाई लेवल कमेटी की रिपोट :
Dhami Gov Dissolved Devasthanam Board : राज्य में जब से देवस्थानम बोर्ड गठन किया किया गया है। तब से ही तीर्थ पुरोहितों ने इसका विरोध करना शुरू कर दिया था। जिसके बाद इस पूरे मामले में रिपोट तैयार करने के लिए राज्य सरकार ने पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज की अध्यक्षता में चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड पर एक बार फिर से विचार के लिए हाई लेवल कमेटी बनाई थी। जिस कमेटी ने अध्ययन और परीक्षण के बाद रिपोट तैयार कर सीएम धामी को सौंपी।
क्या है देवस्थानम बोर्ड :
Dhami Gov Dissolved Devasthanam Board : साल 2019 में पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत की मौजूदगी में देवस्थानम बोर्ड प्रबंधन को विधेयक की मंजूरी मिली थी। जिसके बाद तीर्थ पुरोहित और हक-हकूकधारी का विरोध शुरू हो गया था। लेकिन उनके विरोध को अनदेखा करते हुए तत्कालीन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने चारधाम देवस्थानम बोर्ड को लागू किया। बता दें देवस्थानम बोर्ड चारधाम सहित राज्य के 51 मंदिरों में लागू हुआ था।
Dhami Gov Dissolved Devasthanam Board :
Dhami Gov Dissolved Devasthanam Board : दरअसल तीर्थ पुरोहितों का कहना था कि राज्य सरकार उनसे बिना बातचीत किये ही ये एक्ट लागू कर दिया। इससे उनके लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन हो रहा है साथ ही इस एक्ट के लागू होने से पुरानी परंपराएं खत्म हो जायेगी।
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